प्यार की है मुझ पर मेहरबानियां इस कदर
एक मुस्कान बनी रहती है जाऊं मैं जिधर
सुनामी सी आई है जब से वह मिले हैं
हर वक़्त साथ रहती हैं यादें कहीं भी करूं सफर
अम्बिका राही
www.ambikaraheeshayari.blogspot.in
प्यार की है मुझ पर मेहरबानियां इस कदर
एक मुस्कान बनी रहती है जाऊं मैं जिधर
सुनामी सी आई है जब से वह मिले हैं
हर वक़्त साथ रहती हैं यादें कहीं भी करूं सफर
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