Shayari on December 27, 2016 Get link Facebook X Pinterest Email Other Apps हमारे सपने सब बिखर कर रह गए जिंदगी के कुछ चंद लम्हे आज भी ताजा रह गए किसी और के साथ देखा उनको आज हमने चौराहे पर कुछ बोल नहीं पाए उनसे मेरी पहचान जैसे छीन गए अंबिका राही Comments
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